Saturday, September 28, 2024

MP Vidhansabha : वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने अंतरिम बजट (लेखानुदान) किया पेश, राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा शुरू

भोपाल। एमपी विधानसभा की कार्यवाही चल रही है। वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए अंतरिम बजट (लेखानुदान) विधानसभा में पेश कर दिया। करीब 1 लाख करोड़ का लेखानुदान होगा। इसमें सरकार 4 महीने के खर्च और कमाई का ब्योरा रखेगी। मुख्यमंत्री लाड़ली बहना के लिए 6300 करोड़ का प्रावधान हो सकता है।

नदी जोड़ो परियोजना को लगेंगे पंख

यादव सरकार अपने अंतरिम बजट में केन-बेतवा नदी जोड़ो परियोजना के लिए भी धन का प्रावधान कर सकती है। इसके अलावा एकीकृत पार्वती-कालीसिंध-चंबल परियोजना के लिए भी राशि के प्रावधान किए जाने की संभावना है। पीकेसी के लिए केंद्र ने 3500 करोड़ का प्रावधान किया है। लोकसभा चुनाव को देखते हुए लेखानुदान में प्रमुख योजनाओं के प्रावधान हो सकता है। METRO प्रोजेक्ट समेत कई योजनाओं का जिक्र होगा।

कांग्रेस विरोध में उतरी

विधानसभा पहुंचे नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि मोदी की गारंटी पूरी नहीं हो रही है। जमीन पर कुछ बदलाव दिखे, तब तो हम मानेंगे कि गारंटी पूरी हो रही है। घोषणाएं पूरी होती नजर नहीं आ रही है। विपक्ष के उपनेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने कहा कि जब 2023-24 का 58% बजट ही खर्च हुआ है, 42 फीसदी बजट बकाया है तो एमपी के ऊपर नया कर्जा क्यों लादना चाह रही है? हम इस लेखानुदान का समर्थन नहीं कर सकते।

ये होंगे प्रावधान

मोटे अनाज की खेती को प्रोत्साहित करने के लिए रानी दुर्गावती श्रीअन्न प्रोत्साहन योजना अंतर्गत प्रति क्विंटल दी जाने वाली प्रोत्साहन राशि के लिए प्रावधान किया जाएगा। लाड़ली बहना को प्रतिमाह दी जाने वाली एक हजार 250 रुपये की राशि के हिसाब से 4 माह का आवंटन महिला एवं बाल विकास विभाग को दिया जाएगा तो किसानों को बिना ब्याज के ऋण उपलब्ध कराने के लिए सहकारिता विभाग को ब्याज अनुदान योजना में राशि मिलेगी। तीन वर्षों के लिए 105 करोड़ रुपये की स्वीकृति सरकार ने दी है। प्रदेश में अधोसंरचना विकास के लिए 7 एक्सप्रेस वे बनाए जा रहे हैं। इसके लिए लेखानुदान में अंशदान रखा जाएगा।

क्यों अंतरिम बजट पेश कर रही सरकार?

दरअसल, एमपी सरकार की वित्तीय स्थिति ठीक नहीं है। योजनाओं को चलने के लिए कर्ज लेना पड़ा रहा है। केंद्र ने अंतरिम बजट पेश किया है। ऐसे में केंद्रीय योजनाओं को लेकर आगे कितना फंड मिलेगा, यह पूर्ण बजट से ही साफ होगा। अभी तो केंद्र की तरफ से फंड मिला है, वो तीन महीने के लिए ही है। ऐसे में एमपी सरकार केंद्रीय बजट के बाद ही पूर्ण बजट लेकर आएगी।

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