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आमलकी एकादशी के दिन भूलकर भी ना करें ये काम, वरना हो जाएगा पाप

भोपाल। फाल्गुन माह में होली से पहले आमलकी एकादशी मनाई जाती है। हिंदू धर्म में आमलकी एकादशी का बहुत महत्व होता है। ये एकमात्र ऐसी एकादशी है जिसमें विष्णु जी के अलावा शिव और माता लक्ष्मी की पूजा का जाती है। यह दिन भगवान विष्णु को समर्पित होता है। इस दिन काशी में गौरी-शंकर के […]

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Amalaki Ekadashi
  • March 4, 2025 9:28 am IST, Updated 1 week ago

भोपाल। फाल्गुन माह में होली से पहले आमलकी एकादशी मनाई जाती है। हिंदू धर्म में आमलकी एकादशी का बहुत महत्व होता है। ये एकमात्र ऐसी एकादशी है जिसमें विष्णु जी के अलावा शिव और माता लक्ष्मी की पूजा का जाती है। यह दिन भगवान विष्णु को समर्पित होता है। इस दिन काशी में गौरी-शंकर के साथ होली खेली जाती है।

कब है आमलकी एकादशी

आमलकी एकादशी में विष्णु जी की पूजा में आंवले का खास प्रयोग किया जाता है। आमलकी एकादशी का व्रत समस्त पापों से मुक्ति दिलाने वावा होता है। साथ ही मोक्ष प्राप्ति के लिए भी आमलकी एकादशी का व्रत किया जाता है। आइए जानते हैं इस साल आमलकी एकादशी 2025 में कब है, इसका शुभ मुहूर्त कौन सा है?

आमलकी एकादशी का शुभ मुहूर्त

आमलकी एकादशी फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी को आती है। इसे रंगभरी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है। आमलकी एकादशी 10 मार्च 2025 को मनाई जाएगी। फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि 9 मार्च 2025 को सुबह 7.45 पर शुरू होगी। जो अगले दिन 10 मार्च 2025 को सुबह 7.44 मिनट पर खत्म होगी। आमलकी एकादशी पर सुबह 6.36 मिनट से सुबह 8.05 मिनट पर पूजा का शुभ मुहूर्त बन रहा है। इसके बाद सुबह 9.34 से सुबह 11.03 मिनट पर शुभ का चौघड़िया है।

आमलकी एकादशी के दिन ना करें ये काम

आमलकी एकादशी के दिन पूर्ण ब्रह्मचर्य व्रत का पालन करें।

इस दिन चावल का सेवन नहीं करना चाहिए।

आमलकी एकादशी के दिन लहसुन और प्याज से परहेज करना चाहिए।

इस दिन नाखुन और बाल नहीं काटने चाहिए।

एकादशी के दिन क्रोध का त्यागर मधुर बोलना चाहिए।


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