Saturday, November 23, 2024

MP Politics: एमपी के वैश्य समाज ने राजनीतिक दलों की बढ़ी दी चिंता, रखी ये बड़ी मांग

भोपाल. मध्यप्रदेश में कुछ ही दिनों में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले अलग-अलग समाजों के लोग एकजुट होने लगे हैं। इसी क्रम में शिवपुरी में वैश्य समाज के पदाधिकारियों ने मांग रखी है कि उन्हें भी आगामी विधानसभा चुनाव में बराबर की हिस्सेदारी मिलनी चाहिए। वैश्य महासम्मेलन मध्यप्रदेश के पदाधिकारियों ने शिवपुरी में एक पत्रकार वार्ता आयोजित कर अपनी मांग रखी.

वैश्य समाज ने रखी ये मांग

शिवपुरी के होटल नक्षत्र में आयोजित एक पत्रकार वार्ता में वैश्य महासम्मेलन मध्यप्रदेश इकाई के प्रदेश महामंत्री भरत अग्रवाल ने बताया कि वे उस राजनीतिक दल के प्रत्याशी का समर्थन करेंगे, जो वैश्यों के हितों का संरक्षण, संवर्धन व उनकी सुरक्षा का वचन देगा। पदाधिकारियों ने मांग रखते हुए कहा कि वैश्य महासम्मेलन मध्यप्रदेश की प्रादेशिक कार्य समिति की बैठक इंदौर में आयोजित की गई थी, जिसमें एक राजनीतिक प्रस्ताव पारित किया गया है। इस राजनीतिक प्रस्ताव के अनुसार वैश्यों को राजनीति में बराबर का प्रतिनिधित्व देना चाहिए। समाज के इन पदाधिकारियों ने बताया कि मध्यप्रदेश में वैश्य काफी संख्या में हैं। पत्रकार वार्ता के दौरान वैश्य महासम्मेलन के पदाधिकारी ने कहा कि यदि उन्हें राजनीतिक दलों ने बराबर का प्रतिनिधित्व नहीं दिया तो वे अपने हिसाब से निर्णय लेंगे। इसके अलावा बताया कि आगामी विधानसभा चुनाव में अधिक से अधिक मतदान को लेकर जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। दो अक्टूबर को वैश्य चेतना रैली का आयोजन किया जाएगा। अक्टूबर महीने में गरवा महोत्सव का आयोजन किया जाएगा.

पार्टियों की बढ़ी चिंता

वहीं वैश्य समाज की ओर से टिकट और बराबर का प्रतिनिधित्व दिए जाने की मांग पर अब भाजपा और कांग्रेस दोनों ही दलों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। मध्यप्रदेश में देखा जाए तो शहरी इलाकों में बड़ी संख्या में वैश्य मतदाता हैं और यदि वैश्य समाज के लोग नाराज होते हैं तो दोनों ही दल परेशानी में आ सकते हैं।

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